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Tuesday, March 6, 2012

क्या मूर्ति पूजा के ढोंग से हो सकेगा युग निर्माण ?

जहाँ देखो  वहाँ विविध वस्तुओ, दवाओ और खाद्य-पदार्थो  में मिलावट, चोरी , छल  कपट, हत्याएं,भ्रूणहत्याएं ,नशा ,तस्करी, लूटपाट,अपहरण और बलात्कार आदि की समूचे देश में बाढ सी आई हुए है | समस्त घ्रणित कुकर्मो से देश की यह धरती अटी पड़ी है | कैसा है ये भयावह दृश्य और कैसा है यह अंधविश्वास,पाखंड और अज्ञान ? इस विषय में क्या किसी ने सोचा की क्या होगा इन सबका अंततः परिणाम ?? नहीं सोचा | सभी तो अपने अपने स्वार्थ में दुबे हुए है | किसे फुर्सत है - इन सब बातो की | जब लोग स्वं मिटने मिटाने पर उतारू हो ,तो फिर क्या बनेगा परिवार और राष्ट्र | यह युग पूरी तरह बिगड़ चूका है | कौन करेगा इसका पुनः निर्माण??  क्या मूर्ति पूजा के ढोंग से हो सकेगा युग निर्माण ? नहीं कभी नहीं | ढोंग और प्रपंचो से कुछ संभव नहीं | यदि वस्तुतः युग निर्माण का संकल्प सार्थक करना है तो आईये पुनः वेदों की और लौटे और महर्षि दयानंद द्वारा मार्ग दर्शित पूजा पद्धति को अपनाइये |

1 comment:

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